
जावरा में क्या ट्रेक्टर मालिक और मुखिया जी ही ....???
जावरा में भी अफवाहो का चल रहा दौर
डेस्करिपोर्ट।मध्य प्रदेश में निकाय चुनाव के परिणाम आने के बाद जीतने वाले जनपद पंचायत सदस्य, जिला पंचायत सदस्य और नगर परिषद सदस्यों को तीर्थयात्रा पर भेजा जा रहा है।दरअसल भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस दोनों ही को दलों को यह डर सता रहा है कि अध्यक्ष पदके चुनाव में उनके जीते हुए सदस्यों को विरोधी पार्टी अपने पाले में कर सकती है।207 जनपद पंचायतों और 52 जिला पंचायतों के अध्यक्षों का चुनाव 28 जुलाई को होगा बीजेपी का दावा है कि उसके पास 65 नगर पालिकाओं और 231 परिषदों में बहुमत है
बीजेपी और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों के नेता इस बात की पुरजोर कोशिश में लगे हैं कि निकाय चुनाव मेंउनकी पार्टी के ही अध्यक्ष चुने जाएं। जिसके बाद दोनों ही पार्टियां अपने-अपने उम्मीदवारों को बचाने की कोशिश में लगी हैं ताकि विरोधी उन्हें अपने पाले में ना मिला लें।पार्टी नेताओं के मुताबिक, कुछ अहम तीर्थस्थलों के अलावा पार्षद, जनपद सदस्य और जिला पंचायत सदस्य गोवा, मुंबई, दिल्ली, छत्तीसगढ़ और राजस्थान घूम रहे हैं।
जावरा में ट्रेक्टर मालिक और मुखिया जी ही .....
कांग्रेस नेताओं का कहना है कि विधायकों की खरीदफरोख्त आम बात है लेकिन अब इन लोगों नेनीचे स्तर के चुनाव में भी यह काम शुरू कर दिया है,बाजार में अफवाओं का दौर चल रहा हे , कही पार्षदों की बाड़े बंदी की जा रही हे तो कही खरीद फरोख्त की खबर आ रही हे ,परन्तु राजनीति के जानकारों के अनुसार जावरा की स्थिति लगभग कांग्रेस के पक्ष में हे , क्युकी छूट भय्ये नेता कुछ भी कहते रहे जनता कुछ भी आंकलन करती रहे न तो गुटबाज़ी से ग्रस्त बीजेपी के पास नंबर हे और न ही उसके सर्वे सर्वा कुछ करने वाले हे,क्योकि ट्रेक्टर ने जब मुखिया जी का खेत हाका था और उसके बाद मुखिया ने जिस हिसाब से फसल काटी उसका अहसान भी तो चुकाना बनता हे इस लिए नगर में कितनी ही हवा बाज़ी होती रहे मुखिया जी और ट्रेक्टर मालिक की राजा मंदी से ही नगर के खेतो में फसल बोई जाना हे।
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